*राजेश कुमार वर्मा ने पुनः क्वालीफाई किया जूनियर रिसर्च फेलोशिप JRF एवं नेट परीक्षा*

सारंगढ़-शिक्षा को अपना मुख्य आधार बनाकर रास्ते बनाने वाले को कभी निराशा नहीं मिलती। शिक्षा को ही अपना अंतिम उद्देश्य मानकर आगे बढ़ने वाले को सफलता जरूर मिलती है। ऐसे ही राजेश कुमार वर्मा सुपुत्र श्री झसकेतन वर्मा श्रीमती नामकुमारी पटेल निवासी ग्राम हरदी (बड़े) सारंगढ़ ने सत्र 2013 में गुरू घासीदास केन्द्रीय विश्वविद्यालय बिलासपुर (छ.ग.) से बी.एड. प्रथम श्रेणी उत्तीर्ण कर 2014 में एम.एड. की परीक्षा उत्तीर्ण किया। 2 जून 2014 को आयोजित शिक्षा शास्त्र से JRF और नेट की परीक्षा प्रथम प्रयास में ही पात्रता हासिल कर लिया। इसी बीच इन्होंने जुलाई 2013 में आयोजित केन्द्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा की उत्तीर्ण कर लिया। 2015 में आदिम जाति कल्याण विभाग की छात्रावास परीक्षा में चयन होकर अपनी सेवा आदिवासी प्री.मैट्रिक छात्रावास डोंगरीपाली में देते हुए विभागीय अनुमति प्राप्त कर केन्द्रीय विद्यालय की टीजीटी (विज्ञान) परीक्षा सफलतापूर्वक उत्तीर्ण कर तेलंगाना राज्य में चयनित हुए। छात्रावास अधीक्षक होते हुए भी इन्होनें उच्च्तर माध्यमिक विद्यालय डोंगरीपाली, विकास खण्ड-बरमकेला, जिला: सारंगढ़-बिलाईगढ़ (छ.ग.) में बच्चों को अध्यापन कार्य कराते थे। किसी कारण वश दूरस्थ अंचल में पदस्थापना उपरांत टीजीटी (विज्ञान) पर कार्यभार ग्रहण नहीं कर पाये। लेकिन अपना पढ़ाई जारी रखते हुए 2021 में ब्याख्याता (अंग्रेजी) के पद पर चयन हुए और उक्त पद पर शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बनहर, विकास खण्ड-धरमजयगढ़, जिला-रायगढ़ (छ.ग.) में पदस्थ हैं। इसी बीच इन्होनें अभी हाल ही में *जून 2024 में आयोजित जूनियर रिसर्च फेलोशिप JRF एवं नेट* की परीक्षा अंग्रेजी साहित्य विषय पर 300 अंक में से 190 अंक प्राप्त कर 99.08 परसेंटाईल के साथ पात्रता हासिल किया।
राजेश कुमार वर्मा बचपन से ही होनहार छात्र रहे हैं। इन्होंने इसका श्रेय अपने माता-पिता का आशीर्वाद, अपने गुरुजनों का सहयोग, और अपने बड़े भैया मनोज पटेल, डॉक्टर कमल पटेल, जीजा किशोर नायक के सहयोग एवं मार्ग दर्शन से उपलब्धि हासिल किया।